Latest Posts:
Search for:

[ad_1]

Last Updated:

Bhojpur News: आरा सदर अस्पताल में पहली बार कूल्हे का कृत्रिम प्रत्यारोपण सफलतापूर्वक किया गया है. डॉ. सूर्यकांत निराला के नेतृत्व में 22 वर्षीय रितु कुमारी का ऑपरेशन हुआ. अब घुटने के प्रत्यारोपण की भी योजना है.

X

बिहार के इस सदर अस्पताल में शुरू हुआ कूल्हे व घुटने का ट्रांसप्लांट, अब नीजि अस्पताल में नहीं देने होंगे 1-1.5 लाख

कूल्हे और घुटने के ट्रांसप्लांट के लिए भोजपुर वासियो को नही करना होगा पैसा खर्च,

हाइलाइट्स

  • आरा सदर अस्पताल में कूल्हे का सफल प्रत्यारोपण हुआ
  • अब निजी अस्पताल में नहीं देना होगा 1-1.5 लाख.
  • घुटने के प्रत्यारोपण की भी योजना बनाई जा रही है

भोजपुर: आरा सदर अस्पताल में मरीजों के इलाज के मामले में एक नई उपलब्धि जुड़ गई है. अस्पताल के ऑपरेशन थियेटर में मरीज के कूल्हे का कृत्रिम प्रत्यारोपण (ट्रांसप्लांट) किया गया है. जो काम बड़े निजी अस्पताल या सिर्फ मेडिकल कॉलेजों में ही होते थे, वह पहली बार आरा के सदर अस्पताल में संभव हो सका है. सदर अस्पताल के पहले ट्रांसप्लांट को लेकर जिला अधिकारी, सिविल सर्जन समेत तमाम बड़े अधिकारियों की नजर इस ऑपरेशन पर थी और जैसे ही यह ऑपरेशन सफल हुआ, सभी अधिकारी और डॉक्टर एक-दूसरे को बधाई देने लगे. इतना ही नहीं, अब आरा सदर अस्पताल में कूल्हे का ट्रांसप्लांट के साथ-साथ घुटने के हड्डियों का भी ट्रांसप्लांट करने की व्यवस्था की जा रही है और बहुत जल्द इसकी शुरुआत भी होने जा रही है.

सदर अस्पताल बिहार का पहला सरकारी जिला अस्पताल बन गया है, जहां मरीज के कूल्हे का सफल प्रत्यारोपण किया गया. पटना एम्स और कुछ मेडिकल कॉलेजों में ही कूल्हे का प्रत्यारोपण किया जाता है. सदर अस्पताल के हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. सूर्यकांत निराला के नेतृत्व में 22 वर्षीय युवती के कूल्हे का कृत्रिम प्रत्यारोपण किया गया. बिहिया के गंज निवासी पंचरत्न यादव की 22 वर्षीय बेटी रितु कुमारी के कूल्हे का कृत्रिम प्रत्यारोपण किया गया. ऑपरेशन लगभग दो घंटे तक चला. इसमें सिविल सर्जन और आयुष्मान के नोडल पदाधिकारी डॉ. विकास सिंह की महत्वपूर्ण भूमिका रही. यह ऑपरेशन आयुष्मान भारत योजना के तहत निःशुल्क किया गया. निजी क्लीनिक में इस ऑपरेशन के लिए एक से डेढ़ लाख रुपये खर्च होते हैं.

1 रुपये भी खर्च नहीं…
सदर अस्पताल में कूल्हे के ट्रांसप्लांट के बाद डॉक्टर और अस्पताल प्रशासन की टीम का मनोबल सातवें आसमान पर है. इसी दौरान लोकल 18 से बात करते हुए अस्पताल के प्रबंधक शशिकांत कुमार ने बताया कि भोजपुर जिले के आम मरीजों को अब कूल्हे के ट्रांसप्लांट के लिए किसी बड़े या निजी अस्पताल में नहीं जाना होगा. ना ही उन्हें मेडिकल कॉलेज का चक्कर लगाना होगा. जिन भी मरीजों को ट्रांसप्लांट की जरूरत है, वे सीधे सदर अस्पताल में आएं और यहां पर हड्डी विशेषज्ञ डॉक्टर सूर्यकांत निराला से दिखाएं और उनसे तालमेल बैठाकर ऑपरेशन की एक सुनिश्चित डेट फिक्स कर लें.

उन्होंने बताया कि जिन मरीजों का आयुष्मान कार्ड होगा, उनका ऑपरेशन तो मुफ्त कर दिया जाएगा, लेकिन जिनके पास आयुष्मान कार्ड नहीं होगा, उनसे कुछ राशि ली जाएगी ताकि ट्रांसप्लांट में लगने वाले टूल्स और अन्य चीजों की खरीदारी की जा सके. फिलहाल यह टूल्स या अन्य चीजें जो इसमें इस्तेमाल होती हैं, उनकी भरपाई राज्य सरकार द्वारा नहीं की जा रही है, जिसकी वजह से थोड़ी समस्या हो रही है. लेकिन पत्राचार किया गया है और बहुत जल्द ट्रांसप्लांट में इस्तेमाल होने वाली चीजें भी सदर अस्पताल में उपलब्ध होंगी. उसके बाद मरीज को 1 रुपया भी खर्च नहीं करना पड़ेगा, चाहे आयुष्मान कार्ड हो या ना हो. उन्होंने बताया कि आने वाले कुछ ही दिनों में हम लोग घुटने का ट्रांसप्लांट का प्लान भी बना रहे हैं. पहले एक किसी मरीज पर प्रयोग किया जाएगा और उसके बाद सफल होने पर उसकी भी अस्थाई व्यवस्था यहां कर दी जाएगी.

भारत पाकिस्तान की ताज़ा खबरें News18 India पर देखें
homelifestyle

बिहार के इस सदर अस्पताल में शुरू हुआ कूल्हे व घुटने का ट्रांसप्लांट, जानें नाम

[ad_2]

Source link

Author

Write A Comment