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चित्रकूट के पाठा क्षेत्र में खुला जन औषधि केंद्र गरीबों और मध्यमवर्गीय लोगों के लिए सस्ती और गुणवत्तापूर्ण दवाइयों का स्रोत बन गया है. यहां दवाएं 70-80% सस्ती मिल रही हैं, जिससे इलाज करना आसान हो गया है.
70 से 80 प्रतिशत तक सस्ती दवाएं
मानिकपुर तहसील के आर्य नगर इलाके में संचालित जन औषधि केंद्र अन्य निजी मेडिकल स्टोर्स की तुलना में 70 से 80 प्रतिशत तक सस्ती दरों पर दवाइयां उपलब्ध कराता है. पहले यहां के लोग महंगी दवाइयों के चलते इलाज कराने से हिचकते थे, लेकिन अब इस केंद्र की वजह से उन्हें न केवल राहत मिल रही है, बल्कि इलाज का आत्मविश्वास भी बढ़ा है. जो मरीज पहले दवाइयों की कीमत की वजह से इलाज नहीं करा पाते थे, अब आसानी से जरूरी दवाएं खरीद पा रहे हैं.
जन औषधि केंद्र के संचालक रियाजुल बताते हैं कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी योजनाओं में से एक है. केंद्र सरकार की तरफ से यहां उच्च गुणवत्ता वाली जेनेरिक दवाएं उपलब्ध कराई जाती हैं, जो नामी ब्रांड की दवाओं की तुलना में कई गुना सस्ती होती हैं. उदाहरण के लिए, बीपी, शुगर, गैस जैसी आम बीमारियों की दवाइयां, जो अन्य मेडिकल स्टोर्स पर 100 से 200 रुपये तक मिलती हैं, वही दवाइयां यहां सिर्फ 20 से 30 रुपये में उपलब्ध हैं.
पाठा क्षेत्र के लिए स्वास्थ्य सुरक्षा कवच
आदिवासी बहुल और संसाधनों की कमी से जूझ रहे पाठा क्षेत्र के लिए यह जन औषधि केंद्र किसी स्वास्थ्य सुरक्षा कवच से कम नहीं है. यह केंद्र न केवल मरीजों की आर्थिक परेशानी को दूर कर रहा है, बल्कि सरकार की स्वास्थ्य सेवाओं को गांव-गांव तक पहुंचाने के संकल्प को भी मजबूत कर रहा है. यहां के लोगों में इस केंद्र के प्रति भरोसा और जागरूकता दोनों लगातार बढ़ रहे हैं, जिससे यह स्वास्थ्य सेवा की दिशा में एक क्रांतिकारी पहल बनकर उभरा है.
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