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ये हैं सुपरमॉडल दीपक मल्होत्रा, जिन्होंने साल 1980 के दशक में टॉप मॉडल के रूप में जगह बनाई. देखने में एकदम हैंडसम हंक और अच्छे अच्छे हीरो को फेल कर दें. बस यही देखकर यश चोपड़ा ने भी उन्हें 1991 में आई फिल्म के लिए अप्रोच किया. इस फिल्म में दीपक मल्होत्रा का रोल छोटा सा था, मगर ये फिल्म उनके लिए इतनी बदनसीब निकली कि उनका करियर शुरू होते ही डूब गया.
दीपक मल्होत्रा का जन्म साल 1964 में बैंगलोर में हुआ था. उन्होंने क्राइस्ट यूनिवर्सिटी से पढ़ाई पूरी की और वह नेशनल लेवल के जिमानस्ट भी पहे. उनकी दमदार पर्सनैलिटी ही उन्हें मॉडलिंग की ओर ले आई. उन्हें घर बैठे फोटोग्राफी के ऑफर मिलने लगे. इस तरह 80 दशक में वह सुपरमॉडल बन गए.वह भारत के सबसे ज्यादा फीस लेने वाले मॉडल के रूप में भी उभरे थे. कथितरूप से उन्हें साल 1987 में उस प्रोजेक्ट के लिए 1.5 लाख रुपये मिले थे.
90 के दशक आते आते दीपक मल्होत्रा के पास फिल्मों के ऑफर की भी कमी नहीं थी. लेकिन सब प्रोजेक्ट्स में से उन्होंने यश चोपड़ा और श्रीदेवी की साल 1991 में आई लम्हे फिल्म चुनी. जिसमें अनिल कपूर, वहीदा रहमान से लेकर अनुपम खेर जैसे सितारे भी लीड रोल में थे. लम्हे में श्रीदेवी ने डबल रोल प्ले किया था जिसमें वह पल्लवी और पूजा मां-बेटी के रोल में दिखी थीं. वहीं दीपक ने पल्लवी के प्रेमी और पति सिद्धार्थ का रोल प्ले किया था. मगर दीपक मल्होत्रा की किस्मत ये थी कि उनका मेगा डेब्यू बेजा फ्लॉप निकला.
इतना ही नहीं, दीपक मल्होत्रा की एक्टिंग की भी क्रिटिक्स ने काफी आलोचना की. एक सीन पर उन्हें काफी जज किया गया. ये वो 10 सेकंड का रोल ये था कि पल्लवी बेहोश हो जाती है. सिद्धार्थ उसे जगाने की कोशिश करता है. वह श्रीदेवी के गाल पर हाथ फेरकर प्यार और स्नेह जताने की कोशिश करते हैं लेकिन लोगों को इस सीन में खूब रूखा पन लगा और काफी किरकिरी हुई, मजाक उड़ाया गया. इतना ही नहीं आजतक मीम्स भी बनते हैं.
दीपक मल्होत्रा को लम्हे के अलावा राजीव मेहरा की चमत्कार (1992) में लीड रोल निभाने का मौका मिला था. मगर दीपक ने इसे ठुकराकर श्रीदेवी की फिल्म चुनी थी. बाद में चमत्कार शाहरुख खान को मिली जो उस वक्त बॉलीवुड पारी की शुरुआत कर रहे थे.
बदनसीब फिल्म के चक्कर में हाथ से निकली कई फिल्में
यश चोपड़ा तो अपनी फिल्म डर के लिए भी दीपक मल्होत्रा को कास्ट करने का विचार कर रहे थे. लेकिन लम्हे में ऐसी किरकिरी हुई कि उन्होंने अपना विचार बदल दिया और फिर सनी देओल को कास्ट कर लिया. लम्हे की वजह से दीपक मल्होत्रा के हाथ से बेखुदी, सूर्यवंशी और जुनून जैसी फिल्में हाथ से निकल गईं.
शुरुआत में दीपक मल्होत्रा को शाहरुख खान-आमिर खान का कॉम्पिटिटर माना जा रहा था. मगर शुरुआत के दो साल के अंदर ही सब खत्म हो गया. उन्हें फिल्मों के ऑफर आना भी बंद हो गए. बस फिर क्या दीपक ने भी फिल्मों से हाथ खींच लिए और सबकुछ बदल डाला.
नाम तक बदल डाला
दीपक मल्होत्रा उसके बाद बॉलीवुड से बोरिया-बिस्तरा पैक कर अमेरिका चले गए. लम्हे के बाद एकमात्र फिल्म तेजस्विनी थी जोकि बुरी तरह फ्लॉप हुई. इसके बाद उन्होंने लाइमलाइट से दूर रहने का फैसला लिया. उन्होंने अपना नाम डिनो मार्टेली रख लिया. अमेरिका जाने के बाद उन्होंने मॉडलिंग जारी रखी. साथ ही साथ उन्होंने इंजीनियरिंग और डिजाइनिंग की पढ़ाई भी की. फिर वह गारमेंट का बिजनेस भी करने लगे. एक बार तो वह हैडलाइन में सुपरमॉडल-फैशन शो कोरियोग्राफर लुबना एडम को डेट करने के लेकर भी सुर्खियों में आए थे.
अब कहां हैं दीपक मल्होत्रा
दीपक अब न्यूयॉर्क में कई सालों से सेटल हो चुके हैं. उन्होंने लुबना से शादी कर ली और दो बेटे भी हैं. दीपक के दोनों बेटों ने मनीष मल्होत्रा के लिए मॉडलिंग भी की है.
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