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Ranchi Top Tourist Places: झारखंड सरकार ने उरीमारी माइंस को टूरिज्म के लिए चुना है, जो रांची से 55 किमी दूर है. सीसीएल के साथ मिलकर टूर पैकेज बनाए गए हैं, जिसमें पतरातू घाटी और रजरप्पा मंदिर भी शामिल हैं.

<strong>रांची:</strong> लोगों के मन मे कई बार उत्सुकता होती है कि आखिर जमीन के अंदर से कोयले कैसे निकाले जाते हैं. यह माइंनिंग कैसा होता है. अंदर से कैसा दिखता होगा, कैसा नजारा होगा. कई बार लोग सिर्फ फोटो देखकर ही संतुष्ट हो जाते हैं.

झारखंड सरकार ने इस बार लोगों की इस उत्सुकता को टूरिज्म में बदलने का फैसला लिया है. ऐसे में फिलहाल सिर्फ एक ही माइंस को टूरिज्म के लिए चुना गया है और उसके बाद और भी माइनस को जोड़ा जाएगा.

यह माइंस का नाम है. उरीमारी माइंस जो रांची से 55 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है. जाने में कम से कम डेढ़ घंटा का समय लगता है. सरकार इसके लिए सीसीएल यानी कोल इंडिया लिमिटेड के साथ हाथ मिलाई है और आपको ले जाने की जिम्मेदारी उनकी होगी.

आपको एक गाइड भी दिया जाएगा. जो आपको माइंस की सारी प्रक्रिया दिखाएं और समझाएं. रांची से एक बार में 20 लोग जा पाएंगे. पतरातू होते हुए पतरातु घाटी का मजा भी लेंगे और वहीं चाय नाश्ता भी करेंगे और माइंस जाकर माइंस के अंदर सारी प्रक्रिया देखेंगे.

यानी कि खाना पीना घूमना सब कुछ एक साथ. वहीं, अगर आप रजरप्पा की तरफ से आते हैं तो आपको रजरप्पा मंदिर का भी दर्शन कराया जाएगा और इसके लिए दो स्पेशल पैकेज फिलहाल निकल गए हैं.

पहला पैकेज ₹2500 का है, जो पतरातू रूट से पतरातु घाटी होते हुए और खान-पान के साथ माइंस जायेंगे. वहीं, दूसरा 2800 रुपए रजरप्पा के रूट का है. जहां पर आपको रजरप्पा मंदिर के भी दर्शन हो जाएंगे और फिर आप माइंस के अंदर जायेंगे.

आपको बता दें कि यह देश का पहला टूरिज्म माइंस होगा. अभी तक देश में कहीं भी इसकी शुरुआत नहीं की गई है. ऐसे में खासतौर पर झारखंड वासियों के लिए यह किसी सरप्राइज से कम नहीं है. साथ ही, झारखंड को खनिज पदार्थ का बादशाह कहा जाता है. पूरे देश का सबसे अधिक कोल झारखंड से ही खनन व सप्लाई होती है और यहां पर कई सारे माइंस लगभग हर जिला के आसपास स्थित है.
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