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Multiple Alarms Bad For Health: सुबह के वक्त बार-बार अलार्म बजना सेहत के लिए नुकसानदायक होता है. इससे लोगों की नींद बुरी तरह प्रभावित होती है और थकान, मूड स्विंग समेत कई समस्याएं पैदा हो सकती हैं.

बार-बार अलार्म बजने से नींद पर बुरा असर पड़ता है.
हाइलाइट्स
- सुबह के मल्टीपल अलार्म सेहत के लिए हानिकारक हैं.
- बार-बार नींद टूटने से थकान और मूड स्विंग्स हो सकते हैं.
- अलार्म से कोर्टिसोल हार्मोन लेवल तेजी से बढ़ सकता है.
How Alarms Affect Your Health: सुबह जल्दी उठना सेहत के लिए बेहद फायदेमंद होता है, लेकिन आजकल अधिकतर लोग देर रात तक जागते रहते हैं. इसकी वजह से लोगों के लिए जल्दी उठना काफी मुश्किल हो जाता है. कई लोगों को सुबह उठकर ऑफिस जाना होता है और इसके लिए वे अपने फोन या क्लॉक में अलार्म सेट कर देते हैं. कई बार गहरी नींद में अलार्म का भी पता नहीं लग पाता है और इससे बचने के लिए लोग हर 10-10 मिनट पर मल्टीपल अलार्म सेट कर देते हैं. ये अलार्म सुबह-सुबह बजने लगते हैं और लोग कई बार इन्हें इग्नोर करके सो जाते हैं. थोड़ी-थोड़ी देर पर ऐसा होता रहता है.
अक्सर लोगों को लगता है कि मल्टीपल अलार्म लगाने से वे सही समय पर उठ जाते हैं और अपने ऑफिस या कॉलेज के लिए लेट नहीं होते हैं. हालांकि रोज मल्टीपल अलार्म लगाना आपकी सेहत के लिए बेहद नुकसानदायक हो सकता है. बार-बार नींद टूटना और फिर से सोने की कोशिश करना हेल्थ के लिए ठीक नहीं माना जाता है. इससे नींद पर बुरा असर पड़ता है और लोगों को कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है. कई रिसर्च में भी मल्टीपल अलार्म को सेहत के लिए नुकसानदायक माना गया है. अगर आप मल्टीपल अलार्म के साइड इफेक्ट जान लेंगे, तो फिर ऐसी गलती करने से जरूर बच सकेंगे.
ब्रिटिश वेबसाइट द इंडिपेंडेंट की रिपोर्ट बताती है कि सुबह के वक्त मल्टीपल अलार्म से आपकी नींद बार-बार टूटती है और इससे रैपिड आई मूवमेंट (REM) स्लीप साइकल बाधित होती है. इससे सुबह उठने पर सुस्ती, थकान, मूड स्विंग्स और कोर्टिसोल हार्मोन लेवल बढ़ने जैसी परेशानियां पैदा हो सकती हैं. कोर्टिसोल हार्मोन को तनाव हार्मोन भी कहा जाता है. एक्सपर्ट की मानें तो सुबह जब भी अलार्म बजता है, तब शरीर फाइट या फ्लाइट रिस्पॉन्स में चला जाता है. बार-बार इस तरह से जागना शरीर के लिए बहुत तनावपूर्ण होता है. इसलिए जब सुबह अलार्म बजे, तो एक बार में उठ जाना चाहिए.
हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो सुबह का पहला अलार्म आपकी REM स्लीप साइकल को तोड़ सकता है, जिससे नींद टुकड़ों में बंट जाती है. REM नींद के दौरान ब्रेन की एक्टिविटी, सांस लेने की दर, दिल की धड़कन, ब्लड प्रेशर और आंखों की गति बढ़ जाती है. सुबह के समय जब हम उठने वाले होते हैं, तब हम REM नींद में होते हैं. अगर आपने 7 से 9 घंटे की पूरी नींद ली है, तो जब अलार्म बजेगा, तब उठना ज्यादा कष्टदायक नहीं होगा. अगर आप गहरी नींद में हैं और अलार्म बजता है, तो यह आपके शरीर की फाइट या फ्लाइट प्रतिक्रिया को एक्टिव कर सकता है. बार-बार ऐसा होने से स्ट्रेस लेवल बहुत ज्यादा बढ़ सकता है.
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