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लखनऊ हाईकोर्ट की डबल बेंच ने यूपी जल निगम के 1742 कर्मचारियों को बड़ी राहत दी है. अब उन्हें पेंशन और सभी सेवा लाभ मिलेंगे. पहले सिंगल बेंच ने ये लाभ सिर्फ रिटायर कर्मियों को दिए थे, लेकिन अब सभी विनियमित कर्मिय…और पढ़ें

हाइलाइट्स
- लखनऊ हाईकोर्ट से यूपी जल निगम के 1742 कर्मियों को बड़ी राहत.
- डबल बेंच ने सिंगल बेंच के आदेश को संशोधित किया.
- सभी याचियों को पेंशन और सेवा लाभ देने का आदेश.
लखनऊ: यूपी जल निगम के 1742 कर्मचारियों को लंबे इंतजार के बाद बड़ी राहत मिली है. लखनऊ हाईकोर्ट की डबल बेंच ने इन कर्मियों को पेंशन और अन्य सेवा संबंधी सभी लाभ देने का आदेश दिया है. यह आदेश पहले सिंगल बेंच के फैसले को संशोधित करते हुए आया है, जिसमें सिर्फ रिटायर हो चुके कर्मियों को ही सेवा लाभ दिए जाने का फैसला दिया गया था.
ये कर्मचारी 1984 से 1989 के बीच मस्टर रोल या वर्क चार्ज कर्मचारियों के रूप में नियुक्त हुए थे. बाद में 1991 से 2011 के बीच इन्हें विनियमित कर्मचारियों के रूप में शामिल किया गया. हालांकि, अगस्त 2020 में जारी आदेशों ने इनके कई सेवा लाभ छीन लिए थे, जिससे कर्मचारियों में असंतोष बढ़ गया था.
कर्मचारियों की ये मांग
जल निगम के इन 1742 कर्मियों ने सिंगल बेंच के आदेश के खिलाफ विशेष अपील दायर की थी. सिंगल बेंच ने अपने फैसले में केवल रिटायर कर्मचारियों को पेंशन और सेवा लाभ दिए थे, जबकि अभी भी काम कर रहे या सेवा में हैं, उन्हें इससे वंचित रखा गया था. साथ ही उन कर्मियों को से कोई वसूली नहीं की जाएगी.
अब 1742 कर्मचारी को मिलेंगे सभी लाभ
लेकिन डबल बेंच ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए कहा कि सभी कर्मियों को समान रूप से सेवा लाभ और पेंशन मिलनी चाहिए. इस फैसले से अब 1742 कर्मचारी पेंशन और अन्य सेवा लाभ के हकदार होंगे, जैसे कि वे पहले से रिटायर हो चुके हों.
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डबल बेंच के फैसले से कर्मचारियों में खुशी
इस फैसले के बाद कर्मचारियों में खुशी का माहौल है. लंबे समय से पेंशन और सेवा लाभ के लिए संघर्ष कर रहे कर्मचारी अब अपनी कानूनी जीत से उत्साहित हैं. इस फैसले से उनके आर्थिक और सामाजिक अधिकार सुरक्षित होंगे.
क्या था विवाद?
मस्टर रोल और वर्क चार्ज कर्मचारियों की नियुक्ति को लेकर पहले कई बार विवाद होता रहा है. 1991 से 2011 के बीच इन कर्मचारियों को विनियमित कर दिया गया, लेकिन बाद में 2020 के आदेशों ने उनके कई लाभ वापस ले लिए. इस वजह से कर्मचारियों ने हाईकोर्ट का सहारा लिया. अब डबल बेंच ने उन्हें पेंशन और अन्य सेवा संबंधी सभी लाभ देने का आदेश दिया है.
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