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नीमच के 2009 फर्जी एनकाउंटर मामले में सीबीआई ने एसडीओपी एडविन कर और एएसआई नीरज प्रधान को गिरफ्तार किया है. बंसी गुर्जर के फर्जी एनकाउंटर की जांच जारी है. इस मामले में, बंसी गुर्जर के स्थान पर जिस युवक की मौत हु…और पढ़ें

इंदौर में एमपी पुलिस के 2 अफसर अरेस्ट हुए हैं.
हाइलाइट्स
- सीबीआई ने 2009 फर्जी एनकाउंटर मामले में 2 पुलिस अफसरों को गिरफ्तार किया.
- नीमच में 2009 में बंसी गुर्जर का फर्जी एनकाउंटर हुआ था.
- सीबीआई की जांच से मामले की सच्चाई सामने आने की उम्मीद है.
इंदौर: दिल्ली स्पेशल सीबीआई ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए फेक एनकाउंटर मामले में एसडीओपी एडविन कर और एएसआई नीरज प्रधान को गिरफ्तार किया है. इंदौर से दोनों पुलिसकर्मियों को सीबीआई स्पेशल सेल ने हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी है. यह मामला 2009 में नीमच में हुए बंसी गुर्जर फर्जी एनकाउंटर से जुड़ा है. 2009 में, बंसी गुर्जर नामक एक कथित तस्कर का फर्जी एनकाउंटर हुआ था. इसके बाद, बंसी के एक साथी बाबू ने पुलिस को जानकारी दी कि बंसी जिंदा है. 2012 में, पुलिस ने बंसी गुर्जर को जिंदा गिरफ्तार किया. इस मामले में, बंसी गुर्जर के स्थान पर जिस युवक की मौत हुई थी, पुलिस आज तक उसकी पहचान नहीं कर पाई है.
2009 में, नीमच में बंसी गुर्जर नामक एक कुख्यात तस्कर का कथित फर्जी एनकाउंटर हुआ था. पुलिस ने दावा किया था कि मुठभेड़ में उसकी मौत हो गई है. हालांकि, स्थानीय लोगों का दावा था कि वह जिंदा है. 2011 में, पुलिस ने बंसी के साथी घनश्याम धाकड़ को गिरफ्तार किया, जिसने बताया कि बंसी जीवित है. बाद में, 20 नवंबर 2011 को बंसी गुर्जर को उज्जैन में गिरफ्तार किया गया. जांच में पता चला कि उसने अपनी मौत का नाटक करने के लिए नकली दस्तावेज भी बनवाए थे. इस मामले में कोर्ट ने उसे 7 साल की सजा सुनाई थी.
नीमच के दो लोगों ने 2015-16 में इंदौर हाईकोर्ट में सीबीआई जांच के लिए याचिका लगाई थी. इसके बाद, इंदौर हाईकोर्ट ने फर्जी एनकाउंटर मामले की जांच सीबीआई को सौंपी थी. जब यह एनकाउंटर हुआ था, तब एडविन कर नीमच में टीआई थे और नीरज प्रधान कॉन्स्टेबल थे. वर्तमान में, एडविन कर पन्ना जिले के गुनौर में एसडीओपी हैं. सीबीआई की स्पेशल टीम दोनों पुलिसकर्मियों से पूछताछ करेगी और मामले की जांच करेगी. इस मामले में आगे और भी गिरफ्तारियां हो सकती हैं.
दोनों पुलिसकर्मियों को पहले इंदौर में समन पर बुलाया गया था. इसके बाद, सीबीआई की टीम ने दोनों को गिरफ्तार किया. सीबीआई की स्पेशल टीम दोनों पुलिसकर्मियों से फेक एनकाउंटर मामले में पूछताछ करेगी. यह मामला पुलिस की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल उठाता है. एक युवक की फर्जी एनकाउंटर में मौत हो गई और पुलिस आज तक उसकी पहचान नहीं कर पाई है. सीबीआई जांच से इस मामले की सच्चाई सामने आने की उम्मीद है.
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