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Deadly Virus in UK : ब्रिटेन में एक ऐसे वायरस की पहचान हुई है जो कोरोना को भी मात दे सकती है. चिंता इसलिए भी ज्यादा है क्योंकि इसकी अब तक कोई वैक्सीन नहीं है.

वेस्ट नाइल वायरस.
Deadly Virus in UK : हाल के दिनों में कई देशों में कोरोना की नई लहर सामने आई है. भारत में तो इस कारण 3 व्यक्तियों की मौत भी हो गई है. लेकिन ब्रिटेन में एक ऐसे वायरस का पता लगा है जिसके सामने आप कोरोना को भूल जाएंगे. इसे बहुत खतरनाक वायरस माना जाता है. इसका नाम है वेस्ट नाइल वायरस. यूके हेल्थ सिक्योरिटी एजेंसी और एनिमल एंड प्लांट हेल्थ एजेंसी ने ब्रिटिश मच्छरों में वेस्ट नाइल वायरस के जेनेटिक मटेरियल की पुष्टि की है.अब इसका इंसानों में फैलने की आशंका है. अगर यह इंसानों में तेजी से फैलता है तो यह बेहद खतरनाक साबित हो सकता है क्योंकि अब तक इसकी वैक्सीन नहीं बनी है.
डेंगू परिवार का वायरस
इकोनोमिक टाइम्स ने द मिरर की रिपोर्ट के मुताबिक बताया है कि यह वायरस फ्लैविविरिडी वायरस परिवार का हिस्सा है. इसी परिवार में डेंगू और येलो फीवर जैसे वायरस भी आते हैं. यह वायरस आमतौर पर पक्षियों में पाया जाता है. मच्छर संक्रमित पक्षियों को काटते हैं और फिर दूसरों को संक्रमित करते हैं. कभी-कभी यह वायरस इंसानों और घोड़ों में भी फैल सकता है. पूरी दुनिया में वेस्ट नाइल वायरस यूरोप, अफ्रीका, मिडिल ईस्ट, अमेरिका, एशिया और ऑस्ट्रेलिया में पाया जाता है. हाल के वर्षों में इसका विस्तार यूरोप के उत्तरी और पश्चिमी हिस्सों में भी हुआ है. ज्यादातर लोग जो इस वायरस से संक्रमित होते हैं उन्हें शुरुआत में कोई लक्षण नहीं होते. अगर होते भी हैं तो हल्के फ्लू जैसे लक्षण होते हैं. जैसे बुखार, सिरदर्द, मांसपेशियों में दर्द, लिम्फ नोड्स की सूजन और स्किन पर रैशज.अगर अपने आप ठीक हो गया तो मरीज के लिए बेहतर है, वरना कुछ मामलों में वायरस बेहद गंभीर स्थिति पैदा कर सकता है.
इंसानों में होने की कितनी आशंका
वेस्ट नाइल वायरस के संक्रमण से न्यूरोलॉजिकल यानी दिमाग से जुड़ी जटिलताएं हो सकती हैं. अब तक यूके में कोई लोकल यानी देश के अंदर फैला हुआ संक्रमण नहीं मिला है. न ही इंसानों में और न ही घोड़ों में. हालांकि 2000 से अब तक सात ऐसे मामले सामने आए हैं जिनमें लोग वेस्ट नाइल वायरस से विदेश यात्रा के दौरान संक्रमित हुए. फिलहाल ऐसा कोई सबूत नहीं है कि यूके में यह वायरस पक्षियों या मच्छरों में सक्रिय रूप से फैल रहा है. फिर भी प्रशासन ने निगरानी को बढ़ा दिया है ताकि स्थिति पर करीब से नजर रखी जा सके. ब्रिटेन हेल्थ सर्विस की डिप्टी डायरेक्टर डॉ. मीरा चंद ने द मिरर से बात करते हुए बताया कि यह यूके में मच्छरों में वेस्ट नाइल वायरस की पहली पुष्टि है. लेकिन यह कोई चौंकाने वाली बात नहीं है क्योंकि यह वायरस यूरोप में पहले से ही फैला हुआ है. फिलहाल आम लोगों के लिए जोखिम बहुत कम है. ऐसे रिसर्च हमें शुरुआती चेतावनी देते हैं जिससे हम निगरानी बेहतर बना सकते हैं और मरीजों की जांच सही समय पर कर सकते हैं.
बाढ़ वाले इलाके में फैलने की आशंका ज्यादा
हेल्थ सर्विस के डॉ. ऐरन फॉली ने कहा कि यूके में वेस्ट नाइल वायरस का मिलना यह दिखाता है कि जलवायु परिवर्तन के कारण मच्छरों से फैलने वाली बीमारियां नए इलाकों तक पहुंच रही हैं. लगातार निगरानी जरूरी है ताकि इंसानों और जानवरों दोनों की सेहत की सुरक्षा की जा सके. एडीज़ वेक्सन्स मच्छर से फैलने वाला वेस्ट नाइल वायरस की संख्या फिलहाल कम है लेकिन यह देश के कई हिस्सों में मौजूद है. द मिरर के अनुसार कुछ बाढ़ प्रभावित इलाकों जैसे रिवर आइडल के पास के गांवों (नॉटिंघमशायर में रेटफोर्ड के पास) में गर्मियों के दौरान इसकी संख्या बढ़ जाती है. ये मच्छर इंसानों को काटने के लिए जाने जाते हैं जिससे परेशानी होती है. हाल के समय में इन मच्छरों के रहने वाले स्थानों को नियंत्रित करने के लिए प्रयास किए गए हैं ताकि इनकी संख्या कम की जा सके.
Excelled with colors in media industry, enriched more than 16 years of professional experience. Lakshmi Narayan contributed to all genres viz print, television and digital media. he professed his contribution i…और पढ़ें
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