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UP News: भ्रष्टाचार एक ऐसी दीमक है, जो धीरे-धीरे गांव, शहर ही नहीं बल्कि राज्य और भारत के प्रत्येक राज्य में सरकारी दफ्तरों में या जनप्रतिनिधियों के कार्यालय में आपको देखने को मिलेगी. अब मथुरा का एक ऐसा मामला स…और पढ़ें
भ्रष्टाचार एक ऐसी दीमक है, जो धीरे-धीरे गांव, शहर ही नहीं बल्कि राज्य और भारत के प्रत्येक राज्य में सरकारी दफ्तरों में या जनप्रतिनिधियों के कार्यालय में आपको देखने को मिलेगी. सरकार लोगों के विकास के लिए करोड़ों रुपए हर वर्ष देती है, लेकिन धरातल पर विकास के नाम पर सिर्फ कागजी कार्रवाई कर मोटी धनराशि ऐंठ ली जाती है.
गोवर्धन विकासखंड की ग्राम पंचायत अड़ींग से एक बड़े घोटाले का मामला सामने आया है. सूत्रों के अनुसार, श्मशान घाट और राजपुर स्थित आंगनबाड़ी केंद्र के निर्माण के लिए लाखों रुपये का बजट पारित किया गया था. संबंधित राशि ग्राम पंचायत द्वारा निकाल भी ली गई, लेकिन अभी तक किसी भी प्रकार का निर्माण कार्य शुरू नहीं हुआ. स्थानीय ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि निर्माण कार्य के नाम पर पंचायत के उपकरण और ट्रैक्टर-ट्रॉली का निजी उपयोग किया जा रहा है. जबकि जमीन पर किसी प्रकार की ठोस प्रगति नहीं दिखाई दे रही है. गांव में चल रहे अन्य विकास कार्यों में भी अनियमितताओं की शिकायतें सामने आ रही हैं. इससे ग्रामीणों में भारी असंतोष है. लोगों ने प्रशासन से पूरे मामले की जांच कराने और दोषियों पर सख्त कार्रवाई की मांग की है.
श्मशान घाट में हुए घोटाले की जानकारी देते हुए अडिंग गांव के निवासी रज्जू ने लोकल 18 से बात की. उन्होंने बताया कि पूर्व ग्राम सचिव और वर्तमान प्रधान की मिली भगत से लाखों रुपए की घोटाले किए जा रहे हैं. निर्माण कार्य शुरू होने से पूर्व ही यहां से पैसा निकाल लिया गया और आज तक धरातल पर श्मशान घाट में कार्य नहीं हुए हैं. भ्रष्टाचार चरम सीमा पर है. अंधेर नगरी चौपट राजा की कहावत यहां चरितार्थ होती है.
ग्राम सचिव बोले- मुझे चार्ज लिए हुआ है एक महीना
अब जरा वर्तमान ग्राम सचिव यतिन शर्मा की भी सुन लीजिए. उन्होंने कहा कि मुझे यहां आए हुए एक महीना हुआ है. श्मशान घाट में हुए घोटाले की मुझे कोई जानकारी नहीं है.
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