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UPPSC: उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (UPPSC)की वेबसाइट पर वन टाइम रजिस्ट्रेशन (OTR)करने वालों का तांता लगा है. यूपीपीएससी की आधिकारिक वेबसाइट uppsc.up.nic.in पर अब तक 21 लाख से अधिक उम्मीदवार वन टाइम रजिस्ट्रेशन …और पढ़ें

UPPSC OTR, Sarkari Naukri, Sarkari Result: यूपीपीएससी परीक्षा के लिए ओटीआर क्या है?
हाइलाइट्स
- UPPSC OTR से 21 लाख से अधिक रजिस्ट्रेशन हुए.
- OTR से आवेदन प्रक्रिया सरल और तेज हुई.
- डुप्लिकेट आवेदनों पर रोक लगेगी.
UPPSC OTR: उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (UPPSC)ने अपनी भर्ती प्रक्रिया को आसान बनाने और उम्मीदवारों की सुविधा के लिए वन टाइम रजिस्ट्रेशन (OTR) प्रणाली शुरू की है, जिससे अभ्यर्थियों को काफी आसानी हुई है. वन टाइम रजिस्ट्रेशन प्रणाली के तहत किसी भी अभ्यर्थी को आयोग की वेबसाइट पर केवल एक बार रजिस्ट्रेशन करना होता है. रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी होने के बाद अभ्यर्थी को एक यूनीक रजिस्ट्रेशन नंबर मिल जाता है. इस नंबर की मदद से अभ्यर्थी आयोग की किसी भी भर्ती के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं.
खास बात यह है कि आवेदन के दौरान उम्मीदवारों को बार-बार अपना विवरण, जैसे नाम, जन्मतिथि, शैक्षिक योग्यता आदि, भरने की जरूरत नहीं पड़ती. रजिस्ट्रेशन नंबर डालते ही सारा विवरण स्क्रीन पर आ जाता है.यदि अभ्यर्थी के विवरण में कोई बदलाव नहीं है, तो केवल आवेदन शुल्क जमा करने के साथ ही आवेदन प्रक्रिया पूरी हो जाती है. यह प्रणाली न केवल समय की बचत करती है, बल्कि अभ्यर्थियों के लिए आवेदन प्रक्रिया को सरल भी बनाती है.आयोग की आधिकारिक वेबसाइट (uppsc.up.nic.in) पर दी गई जानकारी के अनुसार ओटीआर के तहत रजिस्ट्रेशन करने वाले अभ्यर्थियों की संख्या बढ़कर 21 लाख 59 हजार 763 हो गई है.
आयोग को भी होती थी दिक्कत
पहले की भर्ती प्रक्रिया में मनचाहा परीक्षा केंद्र जैसे लखनऊ, प्रयागराज या अन्य बड़े शहर हासिल करने के लिए अभ्यर्थी एक ही परीक्षा के लिए कई बार आवेदन करने की कोशिश करते थे. इसके लिए कुछ अभ्यर्थी अपने नाम में मामूली फेरबदल, या पिता के नाम की स्पेलिंग में हेरफेर करने जैसे हथकंडे भी अपनाते थे. इससे न केवल आयोग पर अतिरिक्त प्रशासनिक बोझ पड़ता था, बल्कि भर्ती प्रक्रिया की पारदर्शिता और शुचिता पर भी सवाल उठने लगे थे. डुप्लिकेट आवेदनों की वजह से परीक्षा केंद्रों का आवंटन प्रभावित होता था, जिससे कई बार अभ्यर्थियों को भी असुविधा होती थी. अब वन टाइम रजिस्ट्रेशन प्रणाली से इस समस्या का स्थायी समाधान हो गया है.अब एक अभ्यर्थी एक ही रजिस्ट्रेशन नंबर के जरिए आवेदन कर सकता है, जिससे डुप्लिकेट आवेदनों की संभावना पूरी तरह खत्म हो गई है. इससे आयोग की भर्ती प्रक्रिया न केवल अधिक विश्वसनीय हो गई है, बल्कि परीक्षा केंद्रों का आवंटन भी व्यवस्थित हो गया है.
अभ्यर्थियों में बढ़ा भरोसा
ओटीआर प्रणाली उम्मीदवारों के बीच भी काफी लोकप्रिय हो चुकी है. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि अब तक 21 लाख से अधिक अभ्यर्थी इस सुविधा का लाभ ले चुके हैं. आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी के हवाले से एक रिपोर्ट में कहा गया है कि यूपीपीएससी का लक्ष्य भर्ती प्रक्रिया को इतना सरल और पारदर्शी बनाना है कि अभ्यर्थी बिना किसी परेशानी के अपनी प्रतिभा दिखा सकें.ओटीआर प्रणाली इसी दिशा में एक बड़ा कदम है.अभ्यर्थियों का भी इस प्रणाली पर भरोसा बढ़ा है.
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